shishu-mandir

जम्मू-कश्मीर के डीजीपी ने अमरनाथ यात्रा के सुरक्षा इंतजामों की समीक्षा की

Newsdesk Uttranews
3 Min Read

श्रीनगर, 14 जून (आईएएनएस)। जम्मू-कश्मीर के पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने मंगलवार को आगामी अमरनाथ यात्रा के लिए सुरक्षा व्यवस्था और कर्मियों की तैनाती की समीक्षा के लिए एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की।

new-modern
gyan-vigyan

डीजीपी ने बेस कैंपों की सुरक्षा के हर संभव इंतजाम करने और संचार नेटवर्क को मजबूत करने के निर्देश दिए।

saraswati-bal-vidya-niketan

उन्होंने राष्ट्रीय राजमार्ग और अन्य सड़कों पर यातायात प्रबंधन के प्रभावी और नियोजित विनियमन, वाहनों की पार्किं ग और पहलगाम और बालटाल के दोनों यात्रा मार्गों पर बलों की तैनाती आदि पर जोर दिया।

उन्होंने अधिकारियों को महत्वपूर्ण यात्रा स्थानों और रास्ते में सुरक्षा बढ़ाने के लिए सीसीटीवी और ड्रोन सहित आधुनिक सुरक्षा उपकरणों / प्रौद्योगिकी का पर्याप्त उपयोग करने और पार्किं ग स्थलों सहित संवेदनशील स्थानों और आधार शिविरों पर विशेष ध्यान देने पर जोर दिया। उन्होंने तीर्थयात्रियों को आवश्यकता पड़ने पर तत्काल सहायता प्रदान करने के लिए त्वरित प्रतिक्रिया टीमों को तैनात करने का निर्देश दिया।

सेना, सीएपीएफ, पुलिस और नागरिक प्रशासन के सभी हितधारकों के समकक्षों के बीच समन्वय तंत्र और संचार प्रणालियों पर जोर देते हुए डीजीपी ने कहा कि बेहतर परिणाम के लिए निकट समन्वय आवश्यक है।

उन्होंने यात्रा के सुचारू और शांतिपूर्ण संचालन के लिए एक प्रभावी तंत्र स्थापित करने और योजना बनाने के निर्देश दिए। डीजीपी ने अधिकारियों को अमरनाथ यात्रा तीर्थयात्रियों के लिए सुरक्षा और अन्य आवश्यक व्यवस्थाओं का नियमित निरीक्षण करने के निर्देश दिए।

डीजीपी ने जोर देकर कहा कि स्थानीय और राजमार्ग सुरक्षा ग्रिड को सभी स्तरों पर पूरी तरह से तैयार रखने की जरूरत है और तीर्थयात्रा को सुचारू रूप से संचालित करने के लिए सभी सुरक्षा बलों के संयुक्त प्रयासों को जारी रखना चाहिए। उन्होंने राष्ट्रीय राजमार्ग पर किए जा रहे अतिरिक्त सुरक्षा उपायों की भी समीक्षा की।

डीजीपी ने कहा कि क्षेत्राधिकार के अधिकारियों को पर्याप्त जनशक्ति उपलब्ध कराई गई है और दोहराया कि यात्रा और आंदोलन के चिन्हित मार्ग, यात्रियों के लिए क्या करें और क्या ना करें, और हेल्पलाइन नंबरों को सार्वजनिक किया जाना चाहिए। साथ ही हर संभव माध्यम से प्रसारित किया जाना चाहिए, ताकि यात्री नोट कर सकते हैं और सहजता से कोई भी सहायता मांग सकते हैं।

–आईएएनएस

एचके/एएनएम

Source link