अल्मोड़ा में पुण्य तिथि पर याद किए गए शमशेर

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Shamsher remembered on his death anniversary in Almora

डा. शमशेर सिंह बिष्ट की पुण्य तिथि के बहाने राज्य‌ की वर्तमान दशा पर हुई चर्चा

डा.शमशेर सिंह बिष्ट व साथियों के फलिन्डा आंदोलन का जिक्र करते हुए कहा कि बांध व नदी मे पानी का वितरण क्या होगा । इस आन्दोलन में तय हुआ था कि पानी का नदी खेती व बांध में वितरण क्या होगा। पर आन्दोलन के नतीजे ठंण्ड़े बस्ते में चले गये ।

अल्मोड़ा, 22 सितंबर 2022- शमशेर सिंह बिष्ट की चौथी स्मृति दिवस पर डा रवि चौपड़ा की अध्यक्षता मे आयोजित हुआ। कार्यक्रम संचालन उलोव के अध्यक्ष राजीव लोचन साह ने किया।

Shamsher remembered on his death anniversary in Almora


कार्यक्रम में डा. शमशेर सिंह बिष्ट स्मृति समारोह मे विचार व्यक्त करते हुवे डा. नवीन जुयाल ने कहा कि विद्यार्थी जीवन में वाहिनी ने उन्हें एक नई दिशा दी। उन्होंने कहा कि हिमालय मे जो हाईड़ो प्रोजक्ट बन रहे है उसमें इको सिस्टम पर ध्यान देना जरूरी है । उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड के गांवों को समझने की जरूरत है यहां के निवासियों ने प्रकृति के साथ छेड़छाड़ नही की, आज जो विकास का मॉडल है वह खतरनाक है । कहा कि हमारे पूर्वजों ने भूकम्पों के साथ जीना सीखा उत्तराखण्ड़ में भूकम्प आने की संम्भावनाये है । प्लेट 2.5 मिलीमीटर के हिसाब से युरोप की तरफ खिसक रही है । इस ईलाकों मे प्लेंटो, मे ब़़डा तनाव है । उन्होने डा.शमशेर सिंह बिष्ट व साथियों के फलिन्डा आंदोलन का जिक्र करते हुए कहा कि बांध व नदी मे पानी का वितरण क्या होगा । इस आन्दोलन में तय हुआ था कि पानी का नदी खेती व बांध में वितरण क्या होगा। पर आन्दोलन के नतीजे ठंण्ड़े बस्ते में चले गये । उन्होंने कहा कि टिहरी बांध जो बना है, वह बडे भूकम्प क्षेत्रों मे है । उन्होने कहा कि बाँध मे जब पानी भरता है तो वह मलुवे में जमा होता है जब बांध का पानी कम होता है तब भू -धंसाव होता है । टिहरी मे सभी बैज्ञानिक आपत्तियों को दरकिनार करते हुवे अपनी मनमानी की गई । उन्होंने कहा कि यही हालत पंन्चेश्वर बाँध में भी होगी , ये बैराज भूकम्पीय क्षेत्रों में है ।
जोशीमठ में जो परियोजनाएं बन रही है वे भू धसाव को आमंन्त्रित कर रहे है। 200 मीटर से अधिक ऊचाई में बाध नही बनने चाहिये । 24 बाध ऐसे है जो इससे उपर बन रहे है । हम जो विज्ञान की बात कर रहे है उसे धरातल पर नही उतर रहे है । बाधों के परिपेक्ष्य में हमारा कहना है कि जो बाँध बने है उसके परिणाम सामने है । 2014 में एक सरकारी डैक्युमैन्ट्र आया जिसमे कहा गया कि उत्तराखण्ड में पर्यावर्णीय लक्ष्य तय किये गये । पर प्राप्त नही किये गये । यही हाल सड़कों का है पहाड़ो मे आल बैदर रोड़ की चौड़ाई बारह मीटर कर दी गई । बिना सर्वे के ही सडक निर्माण आरम्भ कर दिया कलिया सौड मे 230 करोड़ खर्चनें के बाद रोड बदलनी पड़ी ।

राज्य बनना एक बड़ी समस्या – मैखुरी

इस अवसर पर वरिष्ट सोशल एक्टिविष्ट इन्द्रेश मैखुरी ने कहा कि राज्य बनना ही अपने आप में एक समस्या हो गया ।उन्होंने कहा कि जब हिमाचल बना तब कार्पोरेट लूट उस स्तर पर नही थी । पर जब उत्तराखण्ड राज्य बना तो यह कार्पोरेट लूट का साधन बन गया । पहा़ड़ो में जो हालत है उसे हेलंग से समझा जा सकता है । हेलंग मे किसी भी ढंग से यदि खेल का मैदान बन सकता हो तो हम अपना आन्दोलन उसे वापस ले लेंगे । उत्तराखण्ड़ अकेले ऐसा राज्य है जहा जमीन खरीदने की लूट है । विधान सभा भर्ती प्रकरण पर सवाल उठाते हुए मैखुरी ने कहा कि विधानसभाओं के पूर्व अध्यक्ष कह रहे है है कि बिधानसभा अध्यक्षों का विशेषाधिकार है , यह आश्चर्य है कि उत्तर प्रदेश की विधानसभा मे 527 उत्तराखण्ड मे कार्मिकोॆ की लंख्या 560 पहुंच गई है ।
महिला आरक्षण पर उन्होंने कहा कि विहार मे बिहारी मूल की बालिकाओं को आरक्षण मिल रहा है पर उत्तराखण्ड़ मे इसे निरस्त कर दिया गया ।यह सोचनीय विषय है ।
उत्तराखण्ड यूकेएसएससी की परिक्षा घोटाला सामने आने के बाद अब वह आयोग करा रहा है जिसने पिछले बीस सालों में केवल छ: परिक्षायें कराई जिसमे कई सवाल गलत रूप मे पूछे गये । , यह बड़े आश्चर्य की बात है कि यूकेएसएसएससी की परिक्षाओं मे पेपर लीक कराने का आरोप एक होमगार्ड पर लगा है ।

नगरपालिका परिषद अल्मोड़ा के अध्यक्ष प्रकाश चन्द्र जोशी ने शमशेर सिंह बिष्ट के जनआन्दोलनों प्रकाश डालते हुए कहा कि 66-67के दशक मे स्टार पेपर मिल द्वारा काटे जा रहे पेड़ो के खिलाफ ससक्त आन्दोलन कियाथा । वे गलत को हमेशा गलत कहते रहे , व सही को सही कहते रहे आम तौर पर लोग बोलते ही नही ।कहा कि उत्तराखण्ड राज्य आन्दोलन मे पीसी जोशी व शमशेर सिंह के हाथों मे ही बागडोर थी , अब हम देख रहे है कि हर कार्य मे भ्रष्टाचार , गडबडी इस राज्य को कहां ले जा रही है यह सोचने का विषय है । उन्होंने कहा कि 2017 मे सरकार संविधान के विरुद्ध काम किया संविधान के 74 नें संसोधन के खिलाफ काम किया अब निकाय के पास पहले से उपलब्ध नक्शा पास कराने का अधिकार छीन लिया , । राज्य में अब जमीन बिक गई है । यहां के लोंग कोठियों की चौकेदारी कर कर रहे है ।
प्रो नवीन जुयाल ने भू गर्भ समस्याओं पर बिस्तार से प्रकाश डाला । सभा का संचालन राजीव लोचन साह ने किया , पूरन चन्द्र तिवारी नवीन बिष्ट , दयाकृष्ण काण्डपाल, अजयमित्र सिंह बिष्ट ,कुणाल तिवारी, रेवती बिष्ट ने अपने बिचार ब्यक्त किये ।
उपपा अध्यक्ष पी सी तिवारी ने संघर्ष वाहिनी के दिमों को याद करते हुवे रहा कि उनके नेतृत्व मे उत्तराखण्ड़ मे क्षेत्रीय जनसंघर्षों का आगाज हुवा क्षेत्रीय विधायक मनोज तिवारी ने कहा कि उत्तराखण्ड जिस राह पर चल पड़ा है वह दुखद है । एक राजनैतिक दल के कार्यकर्ता के रूप मे उनकी प्रतिबद्धता दल के रूप मे है पर डा. शमशेर सिंह बिष्ट ने उन्हे सच व झूठ पर स्पष्ठ बोलने की सीख दी ।कार्यक्रम के अन्त मे जगत रौतेला मे सबका आभार व्यक्त किया इस अवसर पर जंगबहादुर थापा , आनन्द सिंह बग्डवाल , प्रताप सिह सत्याल ,राम सिंह, बसन्त खनी , अजय मेहता हारिस मुहम्मद , रोहित जोशी , शिवदत्त पाण्ड़े , डा जेसी दुर्गापाल , हयात रावत, उदय किरौला, सुरेश तिवारी , विशन दत्त जोशी, शेखर लखचौरा , सुरेश तिवारी , दिनेश पाण्डे , कपिलेश भोज, दीपा तिवारी , कलावती तिवारी , शिवराज सिह , आशीष जोशी आदि उपस्थित थे ।