शर्म है इतना सड़ चुका है हमारा समाज— देवभूमि में 12 वर्षीय रेप पीड़ित ने दिया बच्चे को जन्म

Newsdesk Uttranews
3 Min Read

new-modern

डेस्क— समाजिकता और मानसिकता के हृास का यह सबसे घृणित उदाहरण और क्या हो सकता है। यह कहानी भी देवभूमि कही जाने वाले उत्तराखण्ड के हल्द्वानी में सामने आई है। समाज में पलपोस और बढ़ रहे हवस के गिद्धों की करतूतें जब—जब मानवता पर हावी हुई इसी प्रकार की कहानिया सामने आती है। और यह कहानी आई भी है।

नाम कुछ भी हो सकता है, पापा उसे गुड़िया कह सकते हैं तो मां परी। पर समाज में पल रहे भेड़िए उसे किसी और ही दृष्टि से देखते हैं। हल्द्वानी के अस्पताल में एक रेप पीड़िता 12 वर्षीय नाबालिग लडकी ने एक बेटे को जन्म दिया है,यह अपने माता पिता एक एनजीओ और कुछ समाज सेवियों के साथ प्रसव पीड़ा पर हल्द्वानी के सुशीला तिवारी अस्पाताल आयी थी। बाद में इस बच्ची ने एक स्वस्थ्य बच्चे को जन्म दिया।

भयावह कहानी की का पूर्वार्ध और भी स्याह है। पता चला है कि 60 साल के व्यक्ति द्वारा दिनेशपुर में इस नाबालिग लडकी से बलात्कार किया गया था जिसमें पुलिस द्वारा सम्बधित धाराओं में मुकदमा भी दर्ज किया गया और आरोपी को गिरफतार कर लिया गया था। घटना के पॉच महिने के बाद पीडीता के गर्भवती होने की जानकारी उनको मिली और उसके बाद से पीडीता उनकी देखरेख मे थी और आज उसी रेप पीड़िता नाबालिग लडकी ने एक बेटे को जन्म दिया है इसमें मानवता का पक्ष भी रेप पीड़ित की मां ने ही दिखाया है और नवजात को पालने की बात कही है।

घटना के वक्त कक्षा पांच की छात्रा के साथ इस भयावह यात्रा की शुरुआत अपने हमउम्र बच्चों के साथ खेलते समय उस मैदान से हुई जहां एक 60 वर्षीय वृद्ध उस पर लगातार नजरें जमाए रखता था ।जिस मैदान में इन बच्चों का जमघट लगा रहता था वहीं सामने 60 वर्षीय हरक सिंह(हयात) की अकेली दुकान थी ।वहीं से हरक सिंह(हयात) मासूम पर गिद्धदृष्टि गढ़ाए रहता था । फिर बच्चों के बीच जाकर उन्हें टॉफी बांटता । अपनी खेलने की उम्र में वह बच्ची हरक सिंह की मंशा से अंजान थी फिर एक दिन उसने गुड़िया को बहला फुसला कर अपनी घृणित मंसूबे को अंजाम तक पहुंचा दिया। बच्ची को बात किसी को बताने पर जान से मारने की धमकी भी दे डाली,वह बच्ची इस गिद्द रूपी अधेड़ को दादू कहती थी।

इस विकट परिस्थिति में ‘महिला कल्याण संस्था’ की अध्यक्ष बीना जंगपांगी के साथ स्थानीय जनता ने रूपा और उसके परिवार को ढांढस बंधाया और मुकदमा दर्ज करने के लिए प्रेरित किया कि तांकि किसी और बच्ची के साथ ऐसी घटना ना घटे । थाने का घेराव मुकदमा दर्ज हुआ और बलात्कारी हयात सिंह जेल पहुंचा दिया गया ।