उत्तर प्रदेश के कासगंज जिले में शादी की एक आम रस्म जूता चुराई में विवाद होने के कारण बारात खाली हाथ लौट गई। मामूली मजाक से शुरू हुआ यह मामला इतना ज्यादा बिगड़ गया की दुल्हन के बिना ही दूल्हे को लौटना पड़ा और फिर इस मामले में पुलिस को दखल देना पड़ा।
जूता चुराई की रस्म में तनाव बढ़ाने की वजह से यह सब हुआ। जानकारी के मुताबिक, विटोना गांव से बारात आई थी और शादी की सारी रस्में ठीक-ठाक तरीके से चल रही थीं। तभी निकाह के बाद जूता चुराई की रस्म में विवाद शुरू हो गया।
दुल्हन की बहन ने मजाक में ₹1000 मांगे लेकिन दूल्हे ने सिर्फ उसे ₹200 दिए। इसी बात पर बहस हो गई। परिवार वालों के बीच भी कहासुनी होने लगी और लड़की पक्ष का आरोप है कि दूल्हे के पिता ने उनकी बेटी का हाथ पकड़ते हुए कहा ‘जूता पैरों में पहनाओ तभी पैसे मिलेंगे’ लेकिन लड़की की मां रिहाना और पिता लाल मोहम्मद ने कहा कि यह व्यवहार सही नहीं है और उन्हें ऐसा व्यवहार अपमानित करता है। इसलिए विदाई रोक दी गई।
बताया जा रहा है कि इस मामले ने और तूल तब पकड़ा जब लड़की वालों ने आरोप लगाया कि दूल्हे की मां ने बेटी को “डिग्गी में डालकर ले जाने” की बात कही और बहन ने “काट डालने” की धमकी दी। इस पर मामला पुलिस तक पहुंचा और रात भर पंचायत चलती रही।
दूल्हे के पिता ने बाद में माना कि उनकी गलती है और माफी भी मांगी लेकिन लड़की वाले अपने बात पर अड़े रहे।
दोपहर तक कोई समाधान जब नहीं निकला तो दूल्हा बिना दुल्हन के ही वापस लौट गया। अब फिलहाल दोनों परिवारों में अभी भी बातचीत हो रही है और सुलह की कोशिश की जा रही है। गांव में अब यह विवाह चर्चा का विषय बन गया है ।