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गोष्ठी :: राज्य की अस्मिता को बचाने के लिए मजबूत राजनीतिक विकल्प की जरूरत

Newsdesk Uttranews
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हल्द्वानी, 07 अगस्त 2021 राज्य की अस्मिता पर खतरा विषय को लेकर आयोजित गोष्ठी में सामाजिक राजनीतिक संगठनों से जुड़े लोगों ने सामाजिक ,आर्थिक ,राजनीतिक पहलुओं पर मंथन किया।
 वक्ताओं ने  राज्य से जुड़े सवालों एवं अस्मिता को बचाने के लिए मजबूत राजनीतिक विकल्प  बनाने की बात की।
उत्तराखंड परिवर्तन पार्टी की ओर से छोटी मुखानी स्थित ट्रिपल जे.जे में पार्टी के उपाध्यक्ष प्रभात ध्यानी के संचालन में गोष्ठी को संबोधित करते हुए पार्टी के अध्यक्ष पीसी तिवारी ने कहा कि राज्य की अवधारणा से  एवं अस्मिता से जुड़े सवाल राजनीतिक है और उनका समाधान भी राजनीति से ही होना है। 
उन्होंने कहा कि उत्तराखंड परिवर्तन पार्टी अस्मिता एवं राज्य की अवधारणा से जुड़े सवालों के लिए लगातार संघर्ष करती रही है।उन्होंने सभी लोगों से पार्टी से जुड़ने व सहयोग की अपील की।
वन आमडंडा खत्ता,रामनगर के चिंताराम ने कहा की आजादी के 70 साल बाद आज भी वहां के लोग मूलभूत सुविधाओं से वंचित है। सूफी गांव के खेती किसानी करने वाले बच्चे सिंह बिष्ट ने कहा कि पर्वतीय किसानों की समस्याओं को रखते हुए कहा कि आज भी उनको उनकी फसल का न तो मूल्य मिलता है ना ही भंडारण की व्यवस्था है तथा मंडियों में उनका शोषण जारी है। 

राज्य की अस्मिता

सामाजिक कार्यकर्ता तरुण जोशी ने कहा कि प्रदेश के 11 पहाड़ी जिलों में मात्र 5% भूमि ही कृषि जमीन रह गई है प्रदेश प्रदेश की 10 लाख हेक्टेयर बेनाप भूमि को कानून में संशोधन करके लोगों को देने की वकालत की। उन्होंने चिंता प्रकट करते हुए कहा कि आज पर्वतीय क्षेत्र के 16 सौ से ज्यादा गांव पूरी तरह खाली हो चुके हैं।

 विनोद जोशी ने कहा कि समस्याओं के समाधान के लिए एक मजबूत राजनीतिक संगठन की जरूरत है जो आम लोगों के मुद्दों को मजबूती के साथ लड़ते हुए उनका राजनीतिक समाधान कर सके। उच्च न्यायालय नैनीताल के अधिवक्ता डीके जोशी ने कहा कि वह सामाजिक व राजनीतिक मुद्दों पर संघर्ष करने वाली उत्तराखंड परिवर्तन पार्टी के साथ है। वन संघर्ष मोर्चा के गोपाल लुधियाने वन गुर्जरों व वन गांव के लोगों के मानव अधिकारों के हनन तथा मूल सुविधाओं के मामलों को प्राथमिकता से हल करने की जरूरत बताया।
जी.आर टम्टा ने सामाजिक व राजनीतिक स्तर पर बने एकाधिकार को खत्म करने की बात की।
 वरिष्ठ पत्रकार जगमोहन रौतेला ने कहा कि पार्टी को अपनी कार्यशैली में परिवर्तन करने ,लोगों के बीच में जाने तथा संगठन को मजबूत करने की जरूरत है।

वरिष्ठ पत्रकार इस्लाम हुसैन ने अंध राष्ट्रवाद को देश, प्रदेश व समाज के लिए सबसे बड़ा खतरा बताते हुए इसके खिलाफ लड़ने की जरूरत है।

 रामनगर के लालमणि ने समस्याओं के समाधान के लिए सत्ता पर काबिज होने की बात कही।

बैठक में भूपाल धपोला,मनोज, एसआर टम्टा,सुरेश उनियाल, मोहनलाल दिनेश उपाध्याय,रीता, इस्लाम,अमीनुररहमान,मीना जोशी  सहित बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे।