रेलवे ला रहा है नया नियम, अब IRCTC खाते के लिए जरूरी होगा आधार ऑथेन्टिकेशन

भारतीय रेलवे अब तत्काल टिकट बुकिंग की प्रक्रिया को पारदर्शी और सुरक्षित बनाने के लिए आधार आधारित ई-ऑथेन्टिकेशन को अनिवार्य करने जा रहा है। रेल…

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भारतीय रेलवे अब तत्काल टिकट बुकिंग की प्रक्रिया को पारदर्शी और सुरक्षित बनाने के लिए आधार आधारित ई-ऑथेन्टिकेशन को अनिवार्य करने जा रहा है। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बुधवार को जानकारी दी कि जल्द ही IRCTC खातों को आधार से जोड़ना जरूरी होगा। रेलवे का मानना है कि इससे वास्तविक यात्रियों को तत्काल टिकट प्राप्त करने में आसानी होगी और फर्जी अकाउंट्स के ज़रिए की जाने वाली बुकिंग पर लगाम लगेगी।

फिलहाल IRCTC पर करीब 13 करोड़ यूजर्स सक्रिय हैं, लेकिन इनमें से केवल 1.2 करोड़ यूजर्स ने ही अपने खाते को आधार से प्रमाणित किया है। रेलवे अब सभी गैर-सत्यापित खातों की विशेष जांच करेगा और जो भी खाते संदिग्ध पाए जाएंगे उन्हें बंद कर दिया जाएगा। आधार प्रमाणीकरण के बाद ही ऑनलाइन तत्काल टिकट बुक हो पाएंगे और इसके लिए ओटीपी आधारित प्रक्रिया को अनिवार्य बनाया जाएगा। यहां तक कि भविष्य में काउंटर से भी तत्काल टिकट लेने के लिए आधार सत्यापन आवश्यक हो सकता है।

रेलवे ने हाल ही में 24 मई से 2 जून के बीच तत्काल टिकट बुकिंग के आंकड़ों का विश्लेषण किया। इसमें पाया गया कि एसी श्रेणी के टिकटों में पहले ही मिनट में केवल 5615 टिकट बुक हुए जबकि दूसरे मिनट में यह आंकड़ा 22,827 तक पहुंच गया। दस मिनट के भीतर ही कुल 67 हजार से ज्यादा टिकट बुक हो गए जो कुल बुकिंग का 62.5 प्रतिशत है। दूसरी ओर गैर-एसी श्रेणी में पहले मिनट में 4724 टिकट बुक हुए जबकि दूसरे मिनट में 20,786 टिकट। कुल मिलाकर पहले दस मिनट में करीब 66 प्रतिशत टिकट बिक गए।

इस बुकिंग पैटर्न से यह स्पष्ट है कि अधिकतर तत्काल टिकट शुरुआती कुछ मिनटों में ही बुक हो जाते हैं जिससे आम यात्रियों को टिकट मिलना मुश्किल हो जाता है। रेलवे अब इस पूरे सिस्टम को ठीक करने के लिए एजेंटों पर भी नजर रख रहा है। टिकट बुकिंग में बॉट्स और स्क्रिप्ट्स के दुरुपयोग को रोकने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का सहारा लिया जा रहा है और पिछले छह महीनों में 2.4 करोड़ से अधिक फर्जी और संदिग्ध यूजर्स को ब्लॉक किया जा चुका है।

रेलवे का उद्देश्य है कि जो यात्री वास्तव में यात्रा करना चाहते हैं, उन्हें सही समय पर टिकट मिल सके और बिचौलियों द्वारा की जा रही टिकटों की जमाखोरी पर पूरी तरह रोक लगे। आधार सत्यापन के जरिए भारतीय रेलवे अब टिकट बुकिंग को अधिक भरोसेमंद और निष्पक्ष बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठा रहा है।