अब के दौर में हर कोई अपने घर में साफ पानी पीने के लिए कुछ न कुछ इंतजाम करता है। किसी के घर में आरओ लगा है तो कोई पानी को उबालकर पीने पर भरोसा करता है। वजह बस एक ही है कि पानी अब पहले जैसा नहीं रहा। हवा की तरह पानी भी अब धीरे धीरे जहरीला हो गया है। ऊपर से जो पानी हमें साफ दिखता है वो असल में अंदर से कैसा है इसका अंदाजा लगाना भी मुश्किल हो गया है।
अब हर किसी के पास आरओ लगवाने की सुविधा नहीं होती। ऐसे में कुछ लोग पानी को उबालते हैं। कुछ लोग पुराने घरेलू उपाय अपनाते हैं। लेकिन आज हम आपको एक ऐसा देसी तरीका बताने जा रहे हैं जिसे अपनाकर आप बिना एक पैसा खर्च किए अपने पीने के पानी को शुद्ध कर सकते हैं। और सबसे खास बात ये है कि इसके लिए किसी केमिकल या मशीन की जरूरत नहीं पड़ेगी।
इस देसी जुगाड़ में जो चीज इस्तेमाल होती है वो कोई महंगी चीज नहीं है। ये वही चीज है जो हर हफ्ते आपके रसोई में सब्जी के तौर पर बनती है। जी हां हम बात कर रहे हैं सहजन की फली की। बहुत से लोग इसे ड्रमस्टिक के नाम से भी जानते हैं। ये वही फली है जो सांभर में डाली जाती है या फिर इसकी सब्जी बनती है।
सहजन की फली ना सिर्फ सेहत के लिए फायदेमंद होती है बल्कि पानी को साफ करने में भी बहुत कारगर मानी जाती है। गांव देहात के लोग आज भी इस तरीके को अपनाते हैं। करना बस इतना है कि आप सहजन की फली को अच्छे से धो लें। फिर उसे पीने के पानी में डाल दें और कुछ देर इंतजार करें। ये फली पानी के गंदे कणों को एक जगह जमा कर देती है। फिर धीरे धीरे वो कण नीचे बैठ जाते हैं। उसके बाद पानी साफ हो जाता है।
ये तरीका कोई नया नहीं है। पुराने जमाने में जब न आरओ था न कोई फिल्टर तब लोग इसी तरह से पानी को पीने लायक बनाते थे। कहीं कपड़े से छानते थे तो कहीं रेत और बजरी की मदद से। लेकिन सहजन की फली एक ऐसा तरीका है जो ना तो महंगा है ना ही झंझट वाला।
अगर आप अपने घर में आरओ नहीं लगवा पाए हैं या बार बार पानी उबालने में दिक्कत होती है तो इस देसी जुगाड़ को जरूर अपनाएं। सहजन की फली से पानी ना सिर्फ साफ होता है बल्कि ये शरीर के लिए भी नुकसान नहीं करती।