राजस्थान के कोटा शहर में आए दिन सुसाइड की घटना सुनाई देती है। बताया जा रहा है कि 4 मई को नीट यूजी की परीक्षा हुई थी। इसके चार दिन भी नहीं हुए थे कि एक और छात्र आत्महत्या करने जा रहा था। नीट की तैयारी कर रहे हैं छात्र ने अपने पिता को एक मैसेज किया कि – ‘मेरे को माफ करना पापा, मैं एक अच्छी औलाद नहीं बन पाया।’
पिता को अंतिम मेसेज करके बेटा चंबल नदी में कूदकर जान देने चला गया, लेकिन पिता की सूझ-बूझ और पुलिस की तत्परता ने एक जिन्दगी सहित उसके परिवार को उजड़ने से बचा लिया।
सुसाइड करने जा रहे छात्र ने भावुक होकर अपने पिता को मैसेज – मेरे को माफ करना पापा, मैं एक अच्छी औलाद नहीं बन पाया। जितना भी दुख दिया है, सबके लिए माफ कर देना। बेटे ने आगे लिखा- अब मेरे से नहीं होता, मैं इस दुनिया से जा रहा हूं। बेटे द्वारा पिता को किए इस मेसेज ने बेबस पिता के पैरों तले की जमीन खिसका दी, लेकिन पिता ने सूझ-बूझ से काम लिया और बिखरने की बजाय समझदारी दिखाई।
इसके बाद पिता ने सबसे पहले अपने बेटे को फोन लगाया लेकिन जब बेटे ने फोन नहीं उठाया तो पिता ने तत्काल प्रभाव से स्टूडेंट हेल्पलाइन पर संपर्क किया। सिटी एसपी डॉ. अमृता दुहन की निगरानी वाली टीम ने तुरंत एक्शन लिया और स्टूडेंट को ट्रेस करना शुरू कर दिया।
कुन्हाड़ी थाने की टीम ने स्टूडेंट की लोकेशन खोजनी शुरू की और उसे चंबल नदी के पास ट्रेस कर लिया गया।
इसके बाद तुरंत बच्चों को बचाने के लिए मौके पर पुलिस रवाना हो गई। बताया जा रहा है कि 15 मिनट के अंदर बच्चे को खोज कर निकाल लिया गया और उसकी जान बचा ली गई। पूछताछ में बच्चों ने बताया कि उसके परीक्षा में अच्छे नंबर नहीं आए थे। इसलिए उसने यह कदम उठाया।