वरिष्ठ कवि नीरज पंत की प्रासंगिक रचना: अच्छा बोलते हो तुम

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Relevant poem of senior poet Neeraj Pant

अल्मोड़ा,14 जनवरी 2023- समसामयिक मुद्दों पर कविता के माध्यम से बेबाक राय‌ रखने वाले वरिष्ठ कवि व शिक्षक नीरज पंत ने अच्छा बोलते हो तुम कविता से एक नए समसामयिक मुद्दे पर अपनी राय रखी है।
इस संवेदनशील मुद्दे पर लिखी गई कविता को जरूर पढ़ें और इसकी प्रासंगिकता को महसूस करें।

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अच्छा बोलते हो तुम
तब और भी अच्छा
जब बाढ़ भूकंप या कोई
आपदा आती है
बिना माचिस के आग लगाना
बिन पानी उसे बुझाना
कोई तुमसे सीखे
जब कोई नेता या उसका
नालायक बेटा किसी मुसीबत
में फंस जाते हैं तुम्हारे शब्द फूल
उन्हें निर्दोष साबित कर देते हैं
किसी विपक्षी को नंगा करने में
तुम्हारा हुनर और निखर जाता है
सब भूख का नतीजा है
कोई मगरमच्छ यूं ही बड़ा नहीं होता
छोटे उसकी मदद करते हैं
ये हर गांव शहर में फैले हैं
लेकिन तुम्हारा जवाब न था
न कभी होगा ……।

                                    "नीरज"
Relevant poem of senior poet Neeraj Pant