अल्मोड़ा: स्वास्थ्य सेवाओं की बदहाली और पहाड़वासियों की बेबसी एक बार फिर सामने आई है।
बागेश्वर से एक गर्भवती महिला को अत्यधिक रक्तस्राव के बाद वहां से तो रेफर कर दिया गया लेकिन अल्मोड़ा बेस अस्पताल भी सुविधा भी उसकी जान नहीं बचा पाई।
आठ माह की इस अभागी गर्भवती की बुधवार तड़के बेस अस्पताल में मौत हो गई। उसकी उम्र महज 22 वर्ष की थी। महिला की मौत से परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।
जानकारी अनुसार बागेश्वर जिले की रहने वाली सोनी (22) पत्नी राजन को मंगलवार को प्रसव पीड़ा उठी। परिवारवाले तुरंत उन्हें बागेश्वर जिला अस्पताल लेकर पहुंचे। यहां चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार के बाद गर्भ निकाला। नवजात की मौत हो गई थी। इसके बाद महिला की स्थिति नियंत्रित नहीं हो सकी। सोनी का रक्तस्त्राव तेज हो गया।
उसकी गंभीर हालात को देखते हुए चिकित्सकों ने उन्हें तत्काल उच्च स्तरीय इलाज के लिए अल्मोड़ा के बेस अस्पताल रेफर कर दिया। बेस अस्पताल पहुंचने पर चिकित्सकों ने सोनी को एमआइसीयू में भर्ती कर उपचार शुरू किया, लेकिन लगातार बिगड़ती स्थिति को वे काबू में नहीं ला सके। बुधवार तड़के सोनी ने अंतिम सांस ली। मौत की सूचना मिलते ही अस्पताल में मौजूद परिजन बिलख उठे। बाद में मृतका के परिजन शव को लेकर बागेश्वर लौट गए।
इधर एक बार फिर त्वरित और समुचित चिकित्सा की कमी फिर सवाल खड़े कर रही है।ग्रामीणों का कहना है कि समय रहते बेहतर चिकित्सा सुविधा मिलती तो शायद महिला की जान बच सकती थी।
