सरकारी राशन की दुकानों पर जनवरी 2026 से अगले आदेश तक चावल गेहूं का वितरण 2:3 में में किया जायेगा। बताया जा रहा है कि अंत्योदय या गरीब वर्ग के परिवारों को प्रति माह 35 किलोग्राम खाद्यान्न दिया जाता है।
बदले हुए अब नए नियम के हिसाब से अंत्योदय राशन कार्ड धारी को कुल खाद्यान्न का दो भाग यानी 14 किलोग्राम गेहूं और तीन भाग यानी 21 किलोग्राम चावल दिया जाएगा।
पहले यह खाद्यान्न एक अनुपात चार यानी कि सात किलोग्राम गेंहू और 27 किलोग्राम चावल दिया जाता था। इसी अनुपात में प्राथमिक राशन कार्ड धारियों को दो किलोग्राम गेहूं और तीन किलोग्राम खाद्यान्न निशुल्क दिया जायेगा।
जिलाधिकारी ने बताया कि नए निर्देश के अनुसार गृहस्थी के लाभ पाने वाले प्रति व्यक्ति हर माह दो किलोग्राम गेहूं और 3 किलोग्राम चावल यानी कुल 5 किग्रा खाद्यान्न निशुल्क दिया जाएगा। इस आधार पर खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग ने मासिक आवंटन तय किया है।
नये अनुपात में 1842366.84 क्विंटल गेहूं और चावल 2763550.26 क्विंटल हर माह बिहार को दिया जायेगा। इस तरह बिहार की सरकारी राशन की दुकानों पर 4605917.10 मीट्रिक टन आवंटन किया गया है। यह आवंटन जिलेवार किया गया है।
आधिकारिक जानकारी के अनुसार भारत सरकार ने राशन अनुपात बदला है। बिहार के अलावा दिल्ली, महाराष्ट्रा, उत्तरप्रदेश,पश्चिमी बंगाल, तामिलनाडु,केरल ,उत्तराखंड और तामिलनाडु शामिल हैं।चावल की तुलना में गेंहूं अधिक मात्रा में देने का निर्णय समय समय पर हुए हैं। इसकी दो अहम वजह बतायी जाती हैं।
पहली वजह- जब भारत सरकार के पास गेहूं का भंडार जरूरत से ज्यादा हो जाता है।
दूसरी वजह – कई बार सर्दियों में चावल की मांग की तुलना में गेहूं की मांग अधिक हो जाती है।
