जम्मू कश्मीर वंदे भारत ट्रेन के कोचों की संख्या बढ़ाने का रेलवे ने रखा प्रस्ताव

श्रीनगर में जम्मू और श्रीनगर को जोड़ने वाली सीधी ट्रेन जल्द ही चलने की उम्मीद है। वरिष्ठ रेलवे अधिकारियों ने बताया कि यह उस समय…

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श्रीनगर में जम्मू और श्रीनगर को जोड़ने वाली सीधी ट्रेन जल्द ही चलने की उम्मीद है। वरिष्ठ रेलवे अधिकारियों ने बताया कि यह उस समय हो रहा है जब श्रीनगर-जम्मू राष्ट्रीय राजमार्ग पिछले पखवाड़े से बंद है जिससे लोगों और वाहनों की आवाजाही बाधित हो रही है और सेब की कटाई के मौसम में बागवानी क्षेत्र को 700 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है जिससे घाटी में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं।

250 किलोमीटर लंबा यह राजमार्ग घाटी को देश के बाकी हिस्सों से जोड़ने की मुख्य जीवनरेखा है लेकिन 272 किलोमीटर से अधिक लंबा एक सीधा रेल संपर्क इस क्षेत्र को सभी मौसमों में वैकल्पिक संपर्क प्रदान कर सकता है। अधिकारी ने बताया कि जम्मू रेलवे स्टेशन पर चल रहे विस्तार कार्यों के कारण सीधी रेल सेवा अभी शुरू नहीं हो सकी है।

कटरा से श्रीनगर वंदे भारत एक्सप्रेस वर्तमान में आठ कोचों वाली दो वंदे भारत ट्रेनें जून 2025 से कटरा स्टेशन से श्रीनगर तक चलती हैं जिनमें 900 यात्री क्षमता है। वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि जम्मू स्टेशन के विस्तार कार्य को सितंबर तक पूरा करने का लक्ष्य था लेकिन इसमें तीन सप्ताह की देरी हुई है।

जम्मू कश्मीर के बीच सीधी ट्रेन परियोजना उच्च प्राथमिकता सूची में है और अक्टूबर के बाद शुरू होने की संभावना है। इस देरी का कारण 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले, ऑपरेशन सिंदूर और हाल ही में आए बाढ़ को बताया जा रहा है।

सीधी ट्रेन की शुरुआत में बाधा डालने वाली तीन प्रमुख अड़चनें हैं। सुरक्षा कारणों से वंदे भारत के लिए समर्पित प्लेटफार्म, फुट ओवर ब्रिज और लिफ्ट, ट्रेन के रखरखाव की सुविधा और जम्मू और कटरा के बीच चलने वाली ट्रेनों की टाइम टेबल में बदलाव। अधिकारी ने कहा कि ये सभी सुविधाएं अक्टूबर के अंत तक पूरी हो जाएंगी। उसके बाद सीधी वंदे भारत ट्रेन शुरू की जा सकेगी। उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल लिंक पर केवल दो ट्रैक हैं इसलिए मौजूदा दो वंदे भारत ट्रेनों के अलावा कोई अतिरिक्त ट्रेन नहीं चलाई जाएगी।