उत्तराखंड वाले हो जाएं सावधान! हिमाचल के बाद स्क्रब टायफस पांव पसार रहा है प्रदेश में, जाने कितनी खतरनाक है यह बीमारी

स्क्रब टायफस नाम की बीमारी के मरीज उत्तराखंड के देहरादून अस्पताल में पाये जा रहे हैं। 11 और 15 साल के दो मरीजों में इसकी…

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स्क्रब टायफस नाम की बीमारी के मरीज उत्तराखंड के देहरादून अस्पताल में पाये जा रहे हैं। 11 और 15 साल के दो मरीजों में इसकी पुष्टि हुई है जिसके बाद सभी में दहशत का माहौल है क्योंकि बीते दिनों पड़ोसी राज्य हिमाचल प्रदेश में भी इस बीमारी के चलते तीन लोगों की मौत हो गई थी।

आईए जानते हैं कि कैसे फैलती है यह बीमारी और कितनी घातक है यह


हिमाचल प्रदेश के शिमला स्थित इंदिरा गांधी मेडिकल कॉलेज में स्क्रब टायफस बीमारी से एक की मौत हुई थी। इसके पहले भी दो और मरीजों की मौत हो चुकी थी। इस तरह इस बीमारी से करने वाले लोगों की संख्या तीन हो गई। इन मौतों और पड़ोसी राज्य उत्तराखंड में बढ़ते मरीजों की संख्या के चलते सरकार ने एडवाइजरी जारी की है। आगे जानिए इस बीमारी के बारे में।


इन कीटों के जरिए ऐसे फैलती है बीमारी
स्क्रब टायफस एक तरह का संक्रामक रोग है जो खास तरह के कीट चिगर माइट के काटने से फैलता है। ये कीट इतने छोटे होते हैं कि नंगी आंखों से देखना मुश्किल होता है। यह कीट खास तौर पर झाड़ियां, घास और खेतों पर पाए जाते हैं।


आपको बता दे कि यह बीमारी इस कीट के द्वारा फैल रही है। इस बीमारी की वजह इन कीटों के अंदर रहने वाले ओरिएंटिया त्सुत्सुगामुशी (Orientia tsutsugamushi) नामक बैक्टीरिया हैं। ये बैक्टीरिया चिगर माइट के शरीर में रहते हैं।जब यह माइट इंसान को काटता है, तो बैक्टीरिया खून में पहुंच जाते हैं और संक्रमण फैल जाता है।


जानिए कितनी घातक है ये बीमारी
बताया जा रहा है कि इस कीट के काटने के लगभग 10 से 12 दिन बाद व्यक्ति स्क्रब टायफस से बीमार पड़ जाता है। समय पर इलाज न होने की वजह से फेफड़े, दिमाग, दिल और किडनी सब प्रभावित हो जाते हैं।

इलाज न किए जाने पर स्क्रब टाइफस घातक हो सकता है, लेकिन दवाओं के इस्तेमाल से इस रोग को रोका जा सकता है। विशेषज्ञों के मुताबिक समय पर पहचान और एंटीबायोटिक से इसका इलाज हो सकता है।


इसी वेबसाइट पर शेयर की गई जानकारी के मुताबिक द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान , स्क्रब टाइफस ने प्रशांत क्षेत्र के ग्रामीण या जंगली इलाकों में तैनात हजारों सैनिकों को मार डाला या उन्हें लड़ने में अक्षम कर दिया था।