सभी को पता है कि कैंसर एक जानलेवा बीमारी है लेकिन अब इसका भी सफलतापूर्वक इलाज भारत में आ गया है। रूस की कैंसर वैक्सीन प्रीक्लिनिकल ट्रायल में पास हो गई है और इस्तेमाल के लिए तैयार है।
नई mRNA आधारित कैंसर वैक्सीन के 3 साल तक चले ट्रायल में इसकी पुष्टि सुरक्षित और कारगर साबित हुई है। इस बारे में रूस की फेडरल मेडिकल एंड बायोलॉजिकल एजेंसी ने जानकारी दी।
इस दौरान उन्होंने कहा कि इस वैक्सीन पर कई सालों से रिसर्च हो रही थी और 3 साल बाद इसका फ्री क्लिनिकल ट्रायल चल रहा है। रूस की कैंसर वैक्सीन mRNA तकनीक पर आधारित है, जो कि हर मरीज के RNA के अनुसार कस्टमाइज किया जाएगा।
यह वैक्सीन ट्यूमर के साइज को भी काम करेगा और ग्रंथ को स्लो करेगा बताया जा रहा है कि ट्रायल के दौरान वैक्सीन से ट्यूमर को सिकुड़ने और ग्रंथ स्लो करने के बहुत अच्छे रिजल्ट भी आए।
यह वैक्सीन ट्यूमर के साइज को 60% से 80% तक घटा देता है। सबसे अच्छी बात तो यह है कि यह बार-बार इस्तेमाल के बाद भी असर कम नहीं करती है मतलब यह पूरी तरह इस्तेमाल के लिए तैयार है।
रूस की कैंसर वैक्सीन mRNA तकनीक पर आधारित है। यह ट्यूमर के साइज को 60 से 80% तक कम करने की क्षमता रखते हैं। वही यह इसका असर सारी कैंसर पर एक जैसा नहीं है। कोलोरेक्टल कैंसर इस वैक्सीन का सबसे पहला टारगेट है, यानी कोलोन कैंसर पर इसका ट्रायल बहुत अच्छा हुआ है।
इसके अलावा, ब्रेन कैंसर ग्लियोब्लास्टोमा और स्किन कैंसर मेलेनोमा के रूस स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस कैंसर वैक्सीन को एक नया और खास नियम के तहत मंजूरी दी है। इसका कारण यह है कि यह दूसरी दावों से अलग है।
ये हर मरीज के लिए अलग तरह से बनाई गई है। ऐसे में इस वैक्सीन की डोज की कीमत करीब 3 लाख रुपए रूबल यानी ढाई लाख रुपये हो सकती है हालांकि रूसी सरकार ने रूस नागरिकों के लिए इसे फ्री देने की योजना बनाई है। कैंसर वैक्सीन का पहला ह्यूमन ट्रायल सितंबर-अक्टूबर 2025 में शुरू होने की उम्मीद है।
