उत्तराखंड में बर्ड फ्लू के कुछ मामलों की पुष्टि होने के बाद सरकार ने काफी सतर्क रहने के लिए कहा है। इसी वजह से सीमावर्ती इलाकों से मुर्गी व अंडों के आयात पर रोक लगा दी है। इस स्थिति की गंभीरता को देखते हुए रुड़की क्षेत्र में पशुपालन विभाग द्वारा अलर्ट भी जारी किया गया है। रामपुर जिले में पोल्ट्री फार्म में वर्ल्ड फ्लू की पुष्टि के बाद प्रदेश भर में स्वास्थ्य और पशुपालन विभाग अब सतर्क हो गया।
इस घटनाक्रम के बाद उत्तराखंड सरकार भी सतर्क है। राज्य की सीमाओं पर चेक पोस्ट लगाए गए हैं और पोल्ट्री उत्पादों की आवाजाही पर रोक लगा दी गई है।
रुड़की क्षेत्र में भी पशुपालन विभाग ने सक्रियता दिखाते हुए 10 पोल्ट्री फार्मों से चूजों के सैंपल लेकर जांच के लिए ऋषिकेश प्रयोगशाला भेजे हैं। रुड़की राजकीय पशु चिकित्सालय के वरिष्ठ पशु चिकित्साधिकारी डा. रोहित सिंह ने बताया कि फिलहाल क्षेत्र में कोई बर्ड फ्लू का मामला सामने नहीं आया है, लेकिन एहतियात के तौर पर यह कदम उठाया गया है। उन्होंने बताया कि विभाग द्वारा क्षेत्र के सभी पोल्ट्री फार्मों की निगरानी की जा रही है।
बायो सिक्योरिटी नियमों के तहत निर्देश दिए गए हैं रुड़की में अभी वर्ल्ड फ्लोर की पुष्टि नहीं हुई लेकिन संक्रमण को देखते हुए उत्तराखंड भी सतर्क है उसके सभी कम महत्वपूर्ण माने जा रहे हैं।
रुड़की के पशु चिकित्साधिकारी डा. रोहित सिंह ने बताया कि बर्ड फ्लू जिसे एवियन इन्फ्लुएंजा कहा जाता है, एक संक्रामक वायरल बीमारी है, जो मुख्य रूप से पक्षियों, विशेषकर मुर्गियों, बत्तखों और अन्य घरेलू पक्षियों को प्रभावित करती है। इनमें कुछ विशेष प्रकार का वायरस मनुष्यों में भी संक्रमण फैला सकता है, विशेषकर जब कोई व्यक्ति संक्रमित पक्षियों के संपर्क में आता है।
बताया जा रहा है कि बर्ड फ्लू संक्रमित होने पर पक्षी के अचानक मृत्यु हो जाती है, भूख न लगना, पंखों का झडना या बेजान होना, सिर व गर्दन की सूजन, अंडे देना बंद कर देना या अंडों की गुणवत्ता में गिरावट, छींक आना, सांस लेने में दिक्कत, आंखों से पानी आना यह प्रमुख लक्षण है।
बर्ड फ्लू से सावधानी के तौर पर बीमारी या मृत पक्षियों से दूरी बनाएं, कच्चा मांस या अधपका अंडा न खाएं, पोल्ट्री फार्म में बायो-सिक्योरिटी का पालन करें, सफाई का ध्यान रखें, मास्क का प्रयोग करें।
बताया जा रहा है कि यदि कोई व्यक्ति संक्रमित पक्षियों के संपर्क में आता है तो उसे तेज बुखार, सिर दर्द ,गले में खराश, मांसपेशियों में दर्द, सांस लेने में तकलीफ या खांसी डायरिया या पेट खराब आंखों में जलन या लाल पर निमोनिया आदि के लक्षण दिखाई देते हैं। इन लक्षणों के होने पर तुरंत चिकित्सक को दिखाएं।
