गैंगवार और टारगेट किलिंग की लगातार वारदातों से दहल रहा जमशेदपुर

Newsdesk Uttranews
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जमशेदपुर, 30 जून (आईएएनएस)। गैंगवार और टारगेट किलिंग की लगातार हो रही वारदातों ने जमशेदपुर और आस-पास के इलाकों को दहला कर रख दिया है। मई और जून में ऐसी वारदातों में आठ लोग मारे गये हैं। क्रिमिनल्स के बढ़े हुए हौसले का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि वे कॉलोनी और फ्लैट में घुसकर सरेआम गोलियां बरसा रहे हैं। झारखंड हाईकोर्ट ने इसी महीने यहां हुई एक दु:साहसिक वारदात पर संज्ञान लेते हुए कानून-व्यवस्था की गिरती स्थिति पर कड़ी टिप्पणी की थी।

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ताजा वारदात बुधवार रात दस बजे की है, जब तीन अपराधियों ने ईचागढ़ के पूर्व विधायक अरविंद सिंह के साले कन्हैया प्रसाद सिंह को आदित्यपुर के हरिओम नगर में उनके फ्लैट के सामने गोलियों से भून डाला। अपराधियों ने उनके चेहरे पर धारदार हथियार से भी कई वार किये। वह ट्रांसपोटिर्ंग और लेबर सप्लाई के काम से जुड़े थे। जिस समय उनकी हत्या हुई, उस वक्त उनका निजी बॉडीगार्ड उनके फ्लैट के नीचे ही मौजूद था।

इसके पहले बीते 8 जून को जमशेदपुर के सिदगोड़ा में बुधवार शाम साढ़े चार बजे तीन अपराधियों ने घर का दरवाजा तोड़कर मनप्रीत सिंह नामक युवक की हत्या कर दी थी। हत्या का आरोप रिटायर्ड दरोगा कालिका सिंह के बेटे राहुल सिंह, अक्षय सिंह, गौरव गुप्ता और नवीन सिंह पर है। मारा गया मनप्रीत एक केस में जमशेदपुर की अदालत में पेश हुआ था। इसके कुछ ही घंटों बाद अपराधियों ने उसके घर पर हथियारों के साथ धावा बोला। उस वक्त घर पर मनप्रीत के अलावा उसकी मांसोनी कौर थीं। अपराधियों ने घर का दरवाजा तोड़ दिया और अंदर घुसकर मनप्रीत को सात गोलियां मारीं। इसके बाद उसपर धारदार हथियार से भी वार किया। मनप्रीत कीमां सोनी कौर ने 30 मिनट के दौरान पुलिस को कई बार फोनकिया, लेकिन वह तब पहुंची जब अपराधी वारदात को अंजाम देकर भाग चुके थे। मनप्रीत की मां ने पुलिस को चार अपराधियों राहुल सिंह, अक्षय सिंह, गौरव गुप्त और नवीन सिंह के नाम बताये थे। बाद में पुलिस ने इस मामले के प्रमुख अभियुक्तों को गिरफ्तार किया था। इसी मामले में हाईकोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेते हुए सरकार से जवाब मांगा था। राज्य के गृह सचिव को निजी तौर पर हाजिर होकर इस मामले में जवाब देना पड़ा था।

इस वारदात के एक दिन पहले जमशेदपुर के उपनगर आदित्यपुर में गैंगवार में एक साथ तीन लोगों आशीष गोराई, राजू गोराई और सुधीर चटर्जी की हत्या कर दी गयी थी। यह वारदात सतवहनी दुर्गा पूजा मैदान के पास हुई थी। उस वक्त ये तीनों अपने साथियों के साथ पार्टी कर रहे थे। एक बोलेरो पर सवार होकर आये छोटू यादव, शेरू और अन्य तीन-चार क्रिमिनल्स ने तीनों की हत्या कर दी थी।

गैंगवार की एक ऐसी ही वारदात में बीते 24 मई को राज कुमार कालिंदी उर्फ हथिया नामक युवक की हत्या आदित्यपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत कल्पनापुरी श्रीनाथ ग्लोबल विलेज के पास कर दी गयी थी।उसे चार गोलियां मारी गयी थीं। बताया गया कि उसकी हत्या आदित्यपुर मुस्लिम बस्ती में ब्राउन शुगर के कारोबार को लेकर हुई थी।इसी तरह 29 मई को इच्छापुर में रंजन गोप नामक युवक, 2 मई को सतबहनी में बिल्डिंग मटेरियल सप्लायर कार्तिक गोप की हत्या की वारदातें पेश आयी थीं।

इन मामलों में पुलिस ने कई अपराधियों को गिरफ्तार भी किया है, लेकिन इसके बावजूद अपराध की घटनाएं थम नहीं रहीं। राज्य सरकार में साझीदार कांग्रेस की प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष और सिंहभूम की सांसद गीता कोड़ा कहती हैं कि यह सच है कि जमशेदपुर के उपनगर आदित्यपुर क्षेत्र में विधि-व्यवस्था का हाल बहुत बुरा है। पूरा इलाका ड्रग कारोबार का हब बन गया है। गैंगवार और टारगेट किलिंग की घटनाएं रुक नहीं रहीं। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को स्वयं इस मामले में संज्ञान लेकर तत्काल सख्त कदम उठाना चाहिए।

–आईएएनएस

एसएनसी/एएनएम

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